मोबाइल लाइब्रेरी के जरिए ऐतिहासिक संबंधों से उठ रहा पर्दा


वाराणसी। काशी तमिल संगमम 2 राज्यों के विचारधाराओं के आदान-प्रदान का केंद्र बन चुका है। इस महापर्व में तमिल और काशी के दिग्गजों की जुटान हो रही है। जहां दोनों प्रांतों के संबंधों को एकाकार किया जा रहा है। कार्यक्रम स्थल पर कुल 75 स्टाल लगाए गए हैं जहां काशी और तमिल के विभिन्न कलाओं की प्रदर्शनी लगाई गई है। इस समारोह में एक खास मोबाइल लाइब्रेरी वैन लगाया गया है जो काशी और तमिल के ऐतिहासिक संबंधों के ऊपर से पर्दा हटा रही हैं। इसमें तमिल के बड़े साहित्यकारों द्वारा काशी और तमिल के संबंधों का वर्णन किया गया है। इस की पुस्तकों को हिंदी संस्कृत और तमिल भाषाओं में यहां रखा गया है। इसके साथ ही नई शिक्षा नीति के तहत हिंदी, संस्कृत, तमिल तीनों भाषाओं में बच्चों के लिए अन्य पुस्तकें भी उपलब्ध है। नेशनल बुक ट्रस्ट द्वारा यह मोबाइल लाइब्रेरी लगाई गई है। ट्रस्ट के निदेशक युवराज मलिक ने बताया कि इस मोबाइल लाइब्रेरी में हर प्रकार की पुस्तकों को रखा गया है। नई शिक्षा नीति के तहत ध्यान रखा गया है कि आने वाले विजिटर हर प्रकार की भाषाओं का ज्ञान प्राप्त कर सकें। इसमें बाल समूह के लिए कविता, कहानी, उपन्यास, हिंदी, तमिल और अंग्रेजी भाषाओं में किताबें उपलब्ध है।