गंगा के जलस्तर में लगातार वृद्धि जारी है। वाराणसी में केंद्रीय जल आयोग के अनुसार बुधवार 11 अगस्त को शाम 6 बजे तक गंगा का जलस्तर 72.12 मीटर पर था। इसमें 1 सेंटीमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ोतरी हो रही है। वाराणसी में खतरे का लाल निशान 71.26 मीटर है। वर्तमान में गंगा का जलस्तर खतरे के निशान से 86 सेंटीमीटर ऊपर पहुंच गया है।
वाराणसी के गंगा और वरुणा तटीय निचले इलाकों में पानी लगने से आम जनजीवन ठप सा हो गया है। वहीं सामने घाट ट्रामा सेंटर की तरफ जाने वाले रोड पर भी गंगा का पानी पहुंच गया है। यहीं नहीं लगातार गंगा के जलस्तर में वृद्धी होने से पानी अब दशाश्वमेध घाट से गोदौलिया की ओर बढ़ने लगा है। वहीं मणिकर्णिका घाट में भी गली में पानी भर गया है। यहां बने घुड़साल की छत पर शवदाह हो रहा है।
इधर गंगा की सहायक वरुणा में पलट प्रवाह के कारण पुराना पुल, सरैंया, पुलकोहना, शैलपुत्री, लक्खीघाट, ढेलवरिया, चौकाघाट, हुकुलगंज भी लबालब हैं। सोनातालाब की गलियों व सड़कों पर नाला का पानी भर गया है। गंगा के किनारे रहने वाले लोगों को प्रशासन ने सतर्क किया है तो एनडीआरएफ व स्थानीय गोताखोरों की तमाम टीमें घाटों पर तैनात है। जिले में स्थापित बाढ़ चौकियों को अलर्ट पर रखा गया है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी में बाढ़ से संबंधित स्थिति के बारे में जिला प्रशासन के आलाधिकारियों के साथ विस्तृत ऑनलाइन बातचीत की है। उन्होंने वाराणसी में युद्धस्तर पर राहत कार्य शुरू करने के निर्देश दिये हैं।
इसके अलावा बाढ़ को देखते हुए गुरुवार दोपहर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी वाराणसी पहुंच रहे हैं। सीएम बाढ़ प्रभावित विभिन्न इलाकों का दौरा करेंगे और लोगों में राहत सामग्री भी वितरित करेंगे।