(विशेष प्रतिनिधि) वाराणसी(काशीवार्ता)। अब यह कोई रहस्य नहीं रहा कि प्रदेश के मौजूदा भाजपा विधायकों में से बड़ी संख्या में विधायकों के टिकट कटने जा रहे हैं। परसो लखनऊ में भाजपा चुनाव समिति की बैठक में टिकट के दावेदारों की सूची फाइनल कर दिल्ली रवाना कर दी गई। इसमें इन मौजूदा विधायकों के खिलाफ रपट भी शामिल है, जिनका प्रदर्शन पिछले 5 वर्ष के दौरान संतोषजनक नहीं था। वैसे पिछले 10 दिन से टिकट कटने वाले विधायकों की एक सूची वायरल हो रही है, जिनमें पूर्वांचल के तमाम विधायकों के नाम हैं। इस सूची में गाजीपुर, मुगलसराय सहित वाराणसी के विधायक भी शामिल है। इनमें एक मंत्री भी है। हालांकि इस सूची की प्रमाणिकता पर संदेह है, परंतु इतना तय है कि पार्टी आगामी विस चुनाव में अपनी साख बचाने के लिए किसी भी हद तक जा सकती है।
पार्टी ने गुजरात फार्मूला पर अमल किया तो
बड़ी संख्या में बदल जाएंगे चेहरे
आगामी चुनाव प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के लिए कितना महत्वपूर्ण है इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि उन्होंने दिसंबर माह में उत्तर प्रदेश में उद्घाटन व शिलान्यास कार्यक्रमों की झड़ी लगा दी। अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी में वे10 दिन के अंतराल पर दो बार आएं। सूत्रों के अनुसार प्रदेश चुनाव समिति से टिकट दावेदार के अंतिम नाम प्रधानमंत्री व गृहमंत्री फाइनल करेंगे। टिकट वितरण में इन दोनों शीर्ष नेताओं के अलावा किसी की नहीं चलने वाली है। विभिन्न सर्वे से प्राप्त खबरों पर अगर भरोसा किया जाए तो आगामी चुनाव में भाजपा को नुकसान होने वाला है। संभावित नुकसान को रोकने के लिए पार्टी के पास मौजूदा निष्क्रिय विधायकों का टिकट कटने के अलावा कोई विकल्प नहीं है। भाजपा आलाकमान व प्रधानमंत्री मोदी बड़े फैसले लेने के लिए जाने जाते हैं। गुजरात में पिछले दिनों मुख्यमंत्री बदलने के साथ ही पूरा मंत्रिमंडल बदल दिया था। अगर यूपी में भी गुजरात फार्मूले को पार्टी दोहराये तो कोई आश्चर्य नहीं होना चाहिए। वैसे टिकट कटने की आशंका से घबराए मौजूदा विधायक व मंत्रियों ने पार्टी में अपने गॉडफादरों की परिक्रमा शुरू कर दी है। आने वाला एक हफ्ता भाजपा के टिकट दावेदारों के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण साबित होने जा रहा है। टिकट की पहली सूची से ही तय हो जाएगा कि आने वाले दिनों में पार्टी कितना बड़ा निर्णय लेती है।