यूपीः ‘लेटर ऑफ कम्फर्ट’ को कैबिनेट की मंजूरी, 4 जिलों में होगा 1583 करोड़ का निवेश


कोरोना वायरस की महामारी से अर्थव्यवस्था जूझ रही है. देश की अर्थव्यवस्था पहली बार आधिकारिक रूप से मंदी का शिकार हुई वहीं, सबसे अधिक आबादी वाले राज्य उत्तर प्रदेश की सरकार ने लगातार जूझ रहे आर्थिक क्षेत्र को बड़ी संजीवनी दी है. यूपी कैबिनेट के इस फैसले से आर्थिक क्षेत्र के लिहाज से पिछड़े जिलों को न सिर्फ बड़ी मदद मिलेगी, बल्कि बड़े पैमाने पर रोजगार का सृजन भी होगा.

यूपी में औद्योगिक विकास के लिहाज से पिछड़े चार जिलों में चार निवेशक कंपनियां 1583 करोड़ रुपये का निवेश करेंगी. इनके जरिये 1564 लोगों को रोजगार मिलेगा. ये जिले हरदोई, गोरखपुर, हमीरपुर और बाराबंकी हैं. इसके अलावा चार मेगा कंपनियों को उनकी परियोजनाओं के लिए 191.7 करोड़ रुपये की वित्तीय मदद भी यूपी सरकार की ओर से दी जाएगी.

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व वाली कैबिनेट ने इस संबंध में औद्योगिक विकास विभाग के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है. गौरतलब है कि कोरोना वायरस की महामारी के चलते प्रदेश के आर्थिक रूप से पिछड़े क्षेत्रों के लिए त्वरित निवेश प्रोत्साहन नीति 2020 के तहत चार इकाईयों को लेटर ऑफ कम्फर्ट देने का प्रस्ताव कैबिनेट की बैठक में पेश किया गया था. कैबिनेट ने इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है.

बताया जाता है कि बाराबंकी में ब्रिटानिया इंडस्ट्रीज अपना उत्पादन 31 जनवरी 2023 तक शुरू कर देगी. कंपनी 340 करोड़ रुपये का निवेश करेगी और इससे एक हजार लोगों को रोजगार मिलेगा. हमीरपुर में जेकेसेम सेंट्रल अगले साल 28 मार्च तक उत्पादन शुरू करेगी. इसमें 381.22 करोड़ रुपये से अधिक का निवेश होगा, साथ ही 204 लोगों को रोजगार मिलेगा. हरदोई में बर्जर पेंट्स कंपनी 150 लोगों को रोजगार देगी. कंपनी संडीला हरदोई में 725 करोड़ से ज्यादा का निवेश करेगी.

इसके अलावा गोरखपुर में गैलेंट इंडस्ट्रीज अगले साल एक अप्रैल से वाणिज्यिक उत्पादन शुरू करेगी. इसमें 134.74 करोड़ का निवेश होगा. इस परियोजना में 250 लोगों को रोजगार मिलेगा. इनमें से रायबरेली की आरसीसीपीएल को 54.67 करोड़, बुलंदशहर की श्रीसीमेंट को 88.74 करोड़ , संडीला हरदोई की वरुण वेबरेज को 43.84 करोड़ और मेरठ की पसवारा पेपर्स को 4.44 करोड़ रुपये की वित्तीय सहायता सरकार की ओर से दी जाएगी.