दिल्ली के अलग-अलग अस्पतालों में ऑक्सीजन की कमी है और हर जगह हाहाकार मचा है. इस बीच दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने गुरुवार को अपनी एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि केंद्र और हाईकोर्ट की ओर से उन्हें मदद मिली है, लेकिन अभी भी कई अस्पतालों में ऑक्सीजन की किल्लत है. कई जगह अफरातफरी का माहौल बना हुआ है.
अरविंद केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली को हर रोज 700 टन ऑक्सीजन की जरूरत है, केंद्र की ओर से पहले 380 टन ऑक्सीजन दिया जा रहा था, जिसे बढ़ाकर 480 टन किया गया है. दिल्ली की सारी ऑक्सीजन बाहर के राज्यों से ही आती है.
दिल्ली के मुख्यमंत्री ने बताया कि हमें किस राज्य से ऑक्सीजन मिलेगी, कौन-सी कंपनी देगी ये केंद्र सरकार तय करती है. जिन राज्यों से दिल्ली को ऑक्सीजन मिल रही है, वहां की राज्य सरकारें कंपनियों को रोक रही हैं. पिछले दो दिनों में केंद्र सरकार और दिल्ली हाईकोर्ट ने हमारी बहुत मदद की है.
दिल्ली में ऑक्सीजन की कमी ना हो, इसके लिए हम पूरी मेहनत कर रहे हैं। मुझे यक़ीन है कि अगर हम सब एक साथ ‘भारतीय’ बनकर लड़ेंगे, तो हम कोरोना को हरा देंगे |
आपस में ना लड़ें राज्य, एक होकर बीमारी से लड़ें: केजरीवाल
अरविंद केजरीवाल बोले कि जीटीबी अस्पताल में आने वाला ऑक्सीजन का ट्रक एक राज्य में रुक गया था, तब एक केंद्रीय मंत्री से बात करवाई और फिर ऑक्सीजन दिल्ली पहुंच पाई. जो कोटा हमें दिया गया है, उसमें ओडिशा से ऑक्सीजन आ रही है. हमारी कोशिश है कि हवाई मार्ग से ऑक्सीजन आ सके.
दिल्ली सीएम ने कहा कि ये बहुत बड़ी आपदा है और अगर हम राज्यों में बंट गए, तो ये देश नहीं बच पाएगा. हमें लोगों को बचाना है तो एक होकर लड़ना पड़ेगा. हमें आपस में लड़ना नहीं है, बल्कि एक होकर लड़ना होगा.
आपको बता दें कि बीते दिन दिल्ली के कुछ अस्पतालों में ऑक्सीजन की भारी किल्लत हो गई थी और सिर्फ कुछ घंटे का ही स्टॉक बचा था. पूरे विवाद के बीच मैक्स अस्पताल ने दिल्ली हाईकोर्ट का रुख किया था. तब हाईकोर्ट ने केंद्र को दिल्ली में ऑक्सीजन सप्लाई करने का निर्देश दिया था.